प्रवीण सेवा संस्थान दुर्गा पूजा पंडाल का हुआ भूमि पूजन,

प्रवीण सेवा संस्थान  दुर्गा पूजा पंडाल का हुआ भूमि पूजन हुआ।

इस बार का पूजा पंडाल 70 फीट उंचा होगा

चांडिल,पूर्व विधायक अरविंद सिंह की अगुवाई में प्रवीण सेवा संस्थान  दुर्गा पूजा पंडाल का हुआ भूमि पूजन, श्रद्धालुओं को खूब भाएगा राजस्थान के उदयपुर महल का जीवंत नजारा 

आदित्यपुर : एम टाइप मैदान आदित्यपुर एक में प्रवीण सेवा संस्थान श्री श्री दुर्गा पूजा कमेटी की ओर से इस बार दुर्गा पूजा के अवसर पर पंडाल का स्वरूप राजस्थान के उदयपुर का महल होगा. महल मेवाड़ के शौर्य और इतिहास का प्रतीक है. पूजा पंडाल पूरी तरह से राजस्थान का इतिहास समेटे हुए नजर आएगा. पूजा पंडाल का भूमि पूजन मंगलवार को संस्थान के संरक्षक सह ईचागढ़ के पूर्व विधायक अरविंद सिंह उर्फ मलखान सिंह की ओर से किया गया. मौके पर यजमान के रूप में अंकुर सिंह मौजूद थे. इसके अलावा  मुख्य रूप से एके श्रीवास्तव, विनायक सिंह भी मौजूद थे. 

1994 से हो रहा है पूजा का आयोजन

आदित्यपुर में दुर्गा पूजा का आयोजन 1994 में से ही किया जा  रहा है. इस बार 32वां साल है. पूजा पंडाल जहां बाहर से मोहक होगा वहीं भीतर से भी कम आकर्षक नहीं होगा. 

राजस्थान का कल्चर समेटे होगा पूजा पंडाल – मलखान सिंह

पूजा कमेटी के संरक्षक अरविंद सिंह उर्फ मलखान सिंह ने कहा कि इस बार का पूजा पंडाल राजस्थान का कल्चर समेटे हुए होगा. पूजा पंडाल में कारीगरों की भी अद्भूत कारीगरी देखने को मिलेगी. राजस्थान सबसे पहले डेवलप हुआ था. राजस्थान में मारवाड़ी, राजपूत से लेकर अन्य समाज के लोग भी रहते हैं जो पूरे देख में फैले हुए हैं. पूजा पंडाल के माध्यम से कुल मिलाकर राजस्थान का इतिहास ही लोगों को दिखाने का प्रयास किया जा रहा है. 

मां की मूरत में भी दिखेगी राजस्थानी संस्कृति

दुर्गा पूजा पंडाल में मां की जिस मूरत को विराजमान किया जाएगा उसमें भी राजस्थान की संस्कृति और पहनावा देखने को मिलेगी. कमेटी के संरक्षक अरविंद सिंह उर्फ मलखान सिंह ने श्रद्धालुओं से अपील की है कि पूजा पंडाल में अत्यधिक भीड़ से बचने के लिए मोबाइल का प्रयास नहीं करना चाहिए. मोबाइल से लोगों को  परेशानी हो सकती है, लेकिन भीड़ से किसी को परेशानी नहीं हो इसके खास इंतजाम किए जाएंगे. 

कोलकाता की है लाइटिंग व्यवस्था

पूजा पंडाल में लाइट की जो व्यवस्था की गई है वह कोलकाता की है. मैजिकल लाइट लोगों को अपनी तरफ आकृष्ट करने में कोई कसर नहीं छोड़ेगा. कोलकाता के बीजू दा की टीम की ओर से आकर्षक विद्युत साज-सज्जा की जाएगी.

70 फीट उंचा होगा पूजा पंडाल

इस बार का पूजा पंडाल 70 फीट उंचा होगा. पूजा पंडाल का निर्माण बंगाल के मेचेदा पार्वती डेकोरेटर के अशोक कुमार डे की देख-रेख में किया जाएगा. इस काम के लिए 60 से भी अधिक कारीगरों की टीम को लगाया गया है. मंगलवार से इसका काम भी युद्ध स्तर पर शुरू कराया गया है. जबकि मां दुर्गा सहित अन्य देवी देवताओं की प्रतिमा का निर्माण कोलकाता के मूर्तिकारों की ओर से किया जाएगा.

ग्रामीण परिवेश भी अपनी तरफ खींचेगा

पूजा पंडाल के ठीक बाहर राजस्थान का ग्रामीण परिवेश होगा. यह भी पूजा घुमने आने वाले लोगों को अपनी तरफ खींचने में कोई कसर नहीं छोड़ेगा. 

भूमि पूजन  समारोह पर ये थे मौजूद

भूमि पूजन समारोह पर मुख्य रूप से कमिटी के संरक्षक एके श्रीवास्तव, कमेटी के अध्यक्ष विनायक सिंह, अंकुर सिंह, वरीय कांग्रेस नेता ऋषि मिश्रा, शशि मिश्रा, भगवान सिंह, चंदन सिंह, जगदीश नारायण चौबे, शशिशेखर, पंकज प्रसाद, बसंत प्रसाद, सुनील गुप्ता, शंकर सिंह, बीरेंद्र सिंह, धर्मेंद्र प्रसाद, उपेन्द्र सिंह, इंद्रजीत पांडेय, धनंजय कुमार पप्पू, विनय तिवारी, सावन मिश्रा, धर्मेंद्र प्रसाद सहित अन्य लोग उपस्थित थे.

जानिए उदयपुर के महल की खासियत

उदयपुर की महल 400 साल पुरानी है. महल को महाराणा उदय सिंह की ओर से एक संत के कहने पर बनवाया गया था. भव्य महल को देखकर पर्यटक आश्चर्यचकित रह जाते हैं. इस महल का विकास मेवाड़ महाराजाओं के काल में हुआ था. महल में फतह प्रकाश होटल का भी संचालन होता है. मेवाड़ का राज परिवार आज भी इस महल में निवास करता है और सालों से चली आ रही सभी परंपराओं का भी निर्वहन आज भी उसी तरीके से करता है. राजमहल में प्रवेश करने के लिए इंट्री फीस 300 रुपये रखा गया है. इसके लिए सुबह 9 बजे से लेकर शाम 7 बजे तक का समय निर्धारित किया गया है.

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